
Day 2 film festival: सिनेमा बदल रहा है। आजकल ग्रॉफिक्स ने लोगों के सपनों को नई उड़ान और कल्पनाओं का संसार दिया है। इसलिए अब फिल्म बनाने में काफी मेहनत लगती है और काफी पैसा खर्च होता है। इसलिए अब फिल्म बनाना टीम वर्क के बिना संभव नहीं रह गया है। नए दौर की फिल्मों पर चर्चा का यह दौर मारवाह स्टूडियो में 15वें ग्लोबल फिल्म फेस्टिवल के दूसरे दिन जारी रहा। जानते हैं विस्तार से।
Day 2 film festival: एक्टिंग में शर्म और झिझक नहीं होनी चाहिए
इंफोपोस्ट न्यूज
Day 2 film festival: मारवाह स्टूडियो में 15वें ग्लोबल फिल्म फेस्टिवल के दूसरे दिन फिल्म कलाकारों की तांता लगा रहा। हिन्दी सिनेमा की जानीमानी हस्तियों में फिल्म एक्टर्स सयाली भगत, कंगना शर्मा, महाभारत के अर्जुन फिरोज खान, स्विट्जरलैंड में भारत की राजदूत मोनिका मोहता, भारत में कंबोडिया के राजदूत उनग सीन, राज्यसभा सदस्य अनिल अग्रवाल आदि मौके पर मौजूद रहे।
मारवाह स्टूडियो के चांसलर डॉक्टर संदीप मारवाह ने कहा, आजकल ग्रॉफिक्स ने लोगों के सपनों को नई उड़ान और कल्पनाओं का संसार दिया है। इसलिए अब फिल्म बनाने में काफी मेहनत लगती है और काफी पैसा खर्च होता है। इसलिए अब फिल्म बनाना टीम वर्क के बिना संभव नहीं रह गया है।
किरदार को महसूस करना जरूरी
छात्रों के सवालों के जवाब देते हुए अर्जुन फिरोज खान ने कहा, जब आप अपने किरदार में होते हैं, उस समय किन शब्दों पर प्रभाव डालने हैं, उस पर ध्यान देना जरूरी होता है। उन्होंने आज के धार्मिक धारवाहिक के विषय में कहा, आज के सीरियल में कहानी तो है पर रूह खत्म हो गई है। कंगना शर्मा ने कहा कि नेगेटिव और पॉजिटिव दोनों ही किरदारों को निभाने के लिए किरदार को महसूस करना जरूरी होता है।
सियाली भगत ने कहा, एक्टिंग करते वक़्त शर्म और झिझक नहीं होनी चाहिए। जो बच्चे एक्टिंग में जाना चाहते हैं, वे कम से कम एक साल थियेटर जरूर करें। क्योंकि थियेटर में आपको आपके सामने ही रिजल्ट मिल जाता है। अनिल अग्रवाल ने कहा, कोई भी काम करो बस मेहनत से करो।
उन्होंने आश्वासन दिया कि जल्दी ही फिल्म इंडस्ट्री को सरकार की तरफ से खूबसूरत तोहफा मिलेगा। अर्जुन फिरोज खान को हिंदी सिनेमा भूषण अवार्ड, एमिले को हिंदी सिनेमा समर्थक अवॉर्ड, सियाली भगत और कंगना शर्मा को हिंदी सिनेमा गौरव अवार्ड से सम्मनित किया गया। इसके साथ ही नुक्कड़ नाटक और फैशन शो का भी आयोजन किया गया।